एक लाख गावों के लिए बन रहे मास्क
एकल अभियान के तहत 360 जिलों के लिए महिलायें बना रहीं मास्क
एकल अभियान के तहत एक लाख गांव में एक सप्ताह के भीतर मास्क वितरीत किये जायेंगे। करीब 360 जिलों के गावों में मास्क दिए जायेंगे। इसके लिए कुछ मास्क तो खरीदे गए हैं और कुछ एकल अभियान के सिलाई सेंटर द्वारा बनवाये जा रहे हैं। अभियान से जुडी महिलायें ही मास्क बना रहीं हैं। उन्होंने बताया कि नागालैंड, मिजोरम, मेघालय के साथ ही भारत के पुराने केंद्रशासित राज्यों को छोड़कर भारत के 360 जिलों में एकल अभियान ने गावों में मास्क वितरित किए जाएंगे। लेह, लद्दाख और जम्मू कश्मीर में भी अभियान द्वारा लोगों को जागरूक करने और बच्चों को पढ़ाने व लोगों में स्वरोजगार की रुचि पैदा करने का काम किया जा रहा है। एक लाख गावों में करीब 25 से 30 लाख सेवक काम कर रहे हैं। इस सम्बन्ध में एकल अभियान के राष्ट्रीय महामंत्री माधवेन्द्र सिंह ने बताया कि आज देश ही नहीं बल्कि पूरा विश्व कोरोना वायरस के संक्रमण से ग्रसित है। लाखों लोग इसे प्रभावित हैं। ऐसे में हम सबका नैतिक कर्तव्य बनता है कि हम सबको मिलके देश के संकटग्रस्त समय में जो योगदान हो सके करना चाहिए। उन्होंने बताया कि उनकी संस्था महिलाओं को सिलाई आदि सिखाने के साथ अन्य रोजगार परक कार्यक्रम चलाती है जिससे महिलाओं को रोजगार मिलता है। वर्तमान समय में संस्था मास्क बनाने का काम कर रही है जो देश के 1 लाख गांवों में वितरित किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि संस्था कुछ मास्क खरीदेगी भी।

माधवेन्द्र सिंह , राष्ट्रीय महामंत्री , एकल अभियान
यहां बन रहे मास्क….
नैमिषारण्य, गजरौला ( हापुड़ और मुरादाबाद के बीच ), मथुरा, इंदौर के पास खरगौन में, राजस्थान जयपुर, अजमेर, झारखण्ड के रांची में, करंजो के पश्चमी सिंह भूमि, झारखण्ड के गिरडी में, बंगाल के मालदा में, असम के तिनसुकिया में।
कोरोना संक्रमण रोकने में भी हैं सक्रिय
राष्ट्रीय महामंत्री ने बताया की जो लोग गाँव में बाहर से आ रहे हैं उनको सीधा गांव में नहीं घुसने दिया जा रहा है। ग्राम प्रधान के नेतृत्व में बनी ग्राम समिति सबसे पहले उनकी जाँच व स्क्रीनिंग सीएचसी में कराती है तब उनको गांवों में जाने की इज़ाज़त दी जा रही है। ये सब सुरक्षा और बाकी लोगों के स्वास्थ्य की दृष्टि से किया जा रहा है।